प्रथम कोटि की अभिक्रिया (First order of reaction )
प्रथम कोटि की अभिक्रियायें -
(First order of reaction )
ऐसी अभिक्रियाएं जिनमें अभिक्रिया के वेग का मान अभिकारक के सांद्रण के 1 घात पर निर्भर करता है, प्रथम कोटि की अभिक्रियायें कहलाती हैं|
अभिक्रिया A -----> product प्रथम कोटि की अभिक्रिया होगी, यदि इसके लिए वेग नियम निम्न है-
Rate = k[A]1 = k[A]
प्रथम कोटि की अभिक्रियाओं के कुछ मुख्य उदाहरण निम्न हैं -
(1) C2H5Cl ------------> C2H4 + HCl
प्रायोगिक वेग नियम-
Rate = k [C2H5Cl]
अभिक्रिया की कोटि = 1
(2) NH4NO2 -------> N2 + 2H2O
प्रायोगिक वेग नियम-
Rate = k [NH4NO2]
अभिक्रिया की कोटि = 1
प्रथम कोटि अभिक्रिया के लिए वेग स्थिरांक के मात्रक-
प्रथम कोटि की अभिक्रिया के लिए,
Rate = k[A]
k = Rate/[A]
= molL-1s-1 / molL-1
= s-1
अतः प्रथम कोटि की अभिक्रिया के वेग स्थिरांक का मात्रक s-1होता है|
प्रथम कोटि की अभिक्रिया के लिए वेग समीकरण या समाकलित वेग समीकरण-
माना कि निम्न अभिक्रिया प्रथम कोटि की है-
A -------> product
t=0 a 0
t=t a-x x
द्रव्य अनुपाती क्रिया के नियम से-
Rate = k[A]1
r = k(a-x) -------(1)
बलगतिकी के नियमानुसार-
r = dx/dt -------(2)
समीकरण 1 व 2 से
dx/dt = k(a-x)
dx/(a-x) = kdt
समाकलन करने पर
✓dx/(a-x) = k✓dt
loge1/(a-x) = kt + C
क्योंकि, loge1/x = -logex
-logex = kt + C ------(3)
प्रारंभिक समय में
t = 0, x = 0
यह मान समीकरण 3 में रखने पर
-loge(a-0) = k×0 + C
-loge a = C
C का मान समीकरण 3 में रखने पर
-loge(a-x) = kt - logea
logea - loge(a-x) = kt
k= 1/t logea - loge(a-x)
क्योंकि, logx - logy = log x/y
k= 1/t loge a/(a-x)
क्योंकि, loge = 2.303log10
k= 2.303/t log10 a/(a-x)
अर्द्ध-आयु काल -
किसी अभिक्रिया के आधे भाग के पूर्ण होने में लगने वाले समय अर्थात किसी अभिक्रिया में अभिकारकों की प्रारंभिक मात्रा के आधे भाग के क्रिया करने में लगने वाले समय को उस अभिक्रिया की अर्द्ध-आयु कहा जाता है|
इसे t1/2 से प्रदर्शित करते हैं |
अतः प्रथम कोटि अभिक्रिया के लिए -
t = t1/2
a=a
(a-x) = a/2
क्योंकि,
k= 2.303/t log10 a/(a-x)
k= 2.303/t1/2 log10 a/(a/2)
k= 2.303/t1/2 log10 (2)
क्योंकि, log10(2) = 0. 3010
k = (2. 303 × 0. 3010) / t1/2
k = 0. 693/t1/2
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